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Thursday, January 28, 2016

‘सामाजिक फासीवाद के घेरे में उच्च शिक्षण केंद्र (प्रभाव, संघर्ष एवं चुनौतियां)’

रोहित वेमुला अब मात्र नाम नहीं रहा, यह एक आंदोलन का नाम है. आज देश में जगह जगह पर रोहित वेमुला के माध्यम से आंदोलन हो रहे है, शिक्षा में एवं उच्च शिक्षा में दलित एवं महिला के विरोध में याथास्थितिवादी ताकतें कार्य कर रही है, इसी का परिणाम है की, रोहित को आत्महत्या करनी पड़ी. आज सभी एक मंच पर खड़े है, लगभग सभी दलित/महिला आदि ने उच्च शिक्षा में जातिवादी दंश को जेल है एवं वर्तमान में जेल रहे है. यह सामाजिक फासीवादी व्यवस्था में जकड़े होने का अहसास दिलाती है, इस व्यवस्था के बदलाव के लिए रोहित को शहीद होना पड़ा. शहीद रोहित वेमुला के प्रति हार्दिक शब्दांजलि के साथ सेंटर फॉर दलित लिटरेचर एंड आर्ट, नई दिल्ली के ‘सामाजिक फासीवाद के घेरे में उच्च शिक्षण केंद्र (प्रभाव, संघर्ष एवं चुनौतियां)’ विषय पर हो रहे संवाद में आप सभी आमंत्रित है.
दिनांक : 31 जनवरी, 2016 (रविवार)
समय : दोपहर 2.00 बजे
स्थान : कमिटी रूम, एस.एस.एस. – 1, जवाहरलाल नेहरु यूनिवर्सिटी, नई दिल्ली 


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